Bulandshahr Road Accident News: बुलंदशहर सड़क हादसा : नौ श्रद्धालुओं की मौत, 45 घायल, मुख्यमंत्री योगी ने जताया शोक, मृतकों के परिजनों को दो-दो लाख व घायलों को पचास हजार की सहायता

बुलंदशहर न्यूज। टूडे। न्यूजट्रैक। उत्तर प्रदेश।

बुलंदशहर। उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर जिले में रविवार की देर रात हुआ एक भीषण सड़क हादसा कई परिवारों पर कहर बनकर टूटा। राष्ट्रीय राजमार्ग-34 पर अर्निया थाना क्षेत्र के घटाल गांव के समीप श्रद्धालुओं से भरी एक ट्रैक्टर-ट्रॉली को पीछे से आ रहे तेज रफ्तार कंटेनर ने जोरदार टक्कर मार दी। टक्कर इतनी भीषण थी कि ट्रॉली पलट गई और उसमें सवार लोग सड़क पर दूर-दूर जा गिरे। हादसा इतना अचानक हुआ कि किसी को संभलने का मौका तक नहीं मिला। इस घटना में 9 श्रद्धालुओं की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि करीब 45 लोग गंभीर रूप से घायल हो गए। तीन घायलों की हालत नाजुक बताई जा रही है जिन्हें वेंटिलेटर पर रखा गया है।


श्रद्धालुओं से भरी ट्रॉली

मिली जानकारी के मुताबिक, यह श्रद्धालु कासगंज जिले के थाना सोरों क्षेत्र के रहने वाले थे। सभी लोग राजस्थान के हनुमानगढ़ जिले के प्रसिद्ध गोगामेड़ी मेले में शामिल होने के लिए निकले थे। यात्रा के लिए उन्होंने ट्रैक्टर-ट्रॉली का सहारा लिया था। ग्रामीणों का कहना है कि हर साल गांव से बड़ी संख्या में लोग गोगामेड़ी मेले में जाते हैं। इस बार भी लगभग 60-61 लोग एक साथ यात्रा कर रहे थे। रात करीब ढाई बजे जब यह ट्रॉली बुलंदशहर जिले के अर्निया थाना क्षेत्र के घटाल गांव के पास से गुजर रही थी, तभी पीछे से तेज रफ्तार कंटेनर ने टक्कर मार दी।

टक्कर के बाद मचा हाहाकार

टक्कर इतनी जोरदार थी कि ट्रॉली पलट गई और कई यात्री सड़क पर इधर-उधर बिखर गए। रात का समय होने के कारण चारों ओर चीख-पुकार मच गई। महिलाएं और बच्चे जोर-जोर से रोने लगे। कुछ लोग गंभीर चोटों के चलते सड़क पर तड़पते रहे। हादसे की सूचना मिलते ही आसपास के ग्रामीण मौके पर दौड़ पड़े और राहत-बचाव कार्य में जुट गए। इसके बाद पुलिस को भी सूचना दी गई।

पुलिस और प्रशासन ने दिखाई तत्परता

सूचना मिलते ही अर्निया थाना पुलिस घटनास्थल पर पहुंची। पुलिसकर्मियों ने ग्रामीणों की मदद से घायलों को तुरंत एंबुलेंस से अस्पताल भिजवाया। जिला प्रशासन के अधिकारी भी मौके पर पहुंचे और राहत कार्य शुरू कराया। घायलों को अलग-अलग अस्पतालों में भर्ती कराया गया। जानकारी के अनुसार, 10 घायलों को अलीगढ़ मेडिकल कॉलेज, 10 को जिला अस्पताल और 23 लोगों को निजी अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती किया गया। कई घायलों को प्राथमिक उपचार के बाद छुट्टी भी दे दी गई, जबकि गंभीर रूप से घायल मरीजों का इलाज जारी है।

मृतकों के घरों में पसरा मातम

इस दर्दनाक हादसे की खबर जैसे ही कासगंज जिले के सोरों क्षेत्र में पहुंची, गांव-गांव में मातम पसर गया। जिन परिवारों ने अपने बेटे-बेटियों और परिजनों को यात्रा के लिए विदा किया था, उन्हें अब उनकी मौत की खबर मिली। गांव में हर ओर चीख-पुकार मची हुई है। मृतकों के घरों में कोहराम मचा है। महिलाएं विलाप कर रही हैं और बच्चे अपने माता-पिता को ढूँढ़ रहे हैं। ग्रामीणों का कहना है कि यह हादसा उनके गांव के लिए एक बड़ी त्रासदी है।

मुख्यमंत्री योगी की संवेदना व्यक्त

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हादसे पर गहरा शोक व्यक्त किया है। उन्होंने ट्वीट कर कहा, “बुलंदशहर जिले में हुई सड़क दुर्घटना अत्यंत दुखद है। मेरी संवेदनाएँ शोकाकुल परिजनों के साथ हैं। सरकार इस कठिन समय में हर प्रभावित परिवार के साथ खड़ी है।” मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि सभी घायलों का समुचित उपचार सुनिश्चित किया जाए और इसमें किसी भी प्रकार की लापरवाही न हो।

मुख्यमंत्री ने मृतकों के परिजनों को दो-दो लाख रुपये की आर्थिक सहायता और घायलों को पचास-पचास हजार रुपये की मदद देने की घोषणा की है। साथ ही उन्होंने घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की। मुख्यमंत्री कार्यालय की ओर से जारी बयान में कहा गया कि सरकार हर संभव सहायता प्रदान करेगी।जिला प्रशासन की ओर से डीएम और एसएसपी ने मौके पर पहुंचकर स्थिति का जायजा लिया। अधिकारियों ने बताया कि हादसा अत्यधिक तेज रफ्तार कंटेनर के कारण हुआ। कंटेनर को कब्जे में ले लिया गया है और उसके चालक की तलाश की जा रही है। पुलिस ने केस दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।

हादसे ने उठाए सवाल

यह हादसा एक बार फिर ट्रैक्टर-ट्रॉली के गैरकानूनी और असुरक्षित उपयोग को उजागर करता है। ट्रैक्टर-ट्रॉली कृषि कार्यों के लिए उपयोग में लाने की अनुमति है, लेकिन ग्रामीण क्षेत्रों में लोग अक्सर इसे सवारी ढोने के साधन के रूप में भी इस्तेमाल करते हैं। नियमों की अनदेखी और सड़क सुरक्षा की कमी अक्सर ऐसे हादसों का कारण बनती है। विशेषज्ञों का कहना है कि यदि इस पर कड़ाई से रोक न लगाई गई तो भविष्य में भी ऐसे हादसे होते रहेंगे।

कई के उजड़े परिवार

हादसे में घायल हुए श्रद्धालुओं के परिजन अस्पतालों में अपने अपनों के लिए दुआएं कर रहे हैं। घायल लोगों में से कई की हालत गंभीर है। एक महिला ने रोते हुए कहा कि उन्होंने सोचा भी नहीं था कि भगवान के मेले में दर्शन करने जाने वाली यात्रा उनकी जिंदगी का सबसे बड़ा दुख बन जाएगी। कई बच्चे अपने माता-पिता को खो चुके हैं, तो कई महिलाओं ने अपने पति और भाइयों को खो दिया।यह हादसा प्रदेश सरकार और प्रशासन के लिए एक बड़ी चुनौती भी है। एक तरफ घायलों का इलाज और मृतकों के परिजनों को सहायता पहुंचाना है, वहीं दूसरी ओर इस तरह के हादसों पर रोक लगाने के लिए कड़े कदम उठाने की आवश्यकता है। सड़क सुरक्षा को लेकर लगातार सरकार अभियान चलाती रही है, लेकिन ग्रामीण क्षेत्रों में जागरूकता की कमी और नियमों की अनदेखी से हादसे थमने का नाम नहीं ले रहे।

सरकार उठाए कदम, जिससे रोड पर यूं न उजड़ें जिंदगियां

बुलंदशहर का यह हादसा न केवल 9 परिवारों की जिंदगी उजाड़ गया, बल्कि 45 से अधिक परिवारों को गहरे संकट में डाल गया। यह घटना फिर साबित करती है कि सड़क पर लापरवाही का नतीजा कितना भयावह हो सकता है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने त्वरित राहत का ऐलान करके प्रभावित परिवारों को सहारा देने की कोशिश की है, लेकिन इस हादसे ने एक बार फिर व्यवस्था और लोगों की मानसिकता दोनों पर सवाल खड़े कर दिए हैं। अब जरूरत है कि ऐसे हादसों से सबक लेकर नियमों का सख्ती से पालन कराया जाए, ताकि मासूम जिंदगियां सड़क पर यूँ ही न उजड़ें।

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Avdhesh Bhardwaj, Senior Journalist with 22+ years of experience, has worked with Dainik Jagran, iNext, The Sea Express and other reputed media houses. He has reported on politics, administration, crime , defense, civic issues, and development projects. Known for his investigative journalism and sting operations, he is now contributing to Today NewsTrack as a leading voice in digital media.”

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